हल्द्वानी: पुरानी पेंशन योजना की बहाली की मांग को लेकर सरकारी व अर्द्ध सरकारी विभागों के सैकड़ों कर्मचारियों ने आक्रोश रैली निकाली। चेतावनी दी कि यदि पुरानी पेंशन योजना लागू नहीं हुई तो उग्र आंदोलन होगा।
राष्ट्रीय पुरानी पेंशन बहाली संयुक्त मोर्चा के बैनर तले रविवार को सैकड़ों सरकारी कर्मी कॉलटैक्स टैक्सी स्टैंड के समीप इकट्ठा हुए। यहां से उन्होंने केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए पुरानी पेंशन बहाली की मांग कर रैली निकाली। रैली वाटिका बैंक्वेट हॉल पहुंची और यहां सभा में तब्दील हो गई।
वक्ताओं ने कहा कि केंद्र ने अक्टूबर 2005 में पुरानी पेंशन योजना समाप्त कर नई पेंशन योजना मार्केट के आधार पर शुरू की गई थी। कर्मचारियों को उम्मीद थी कि इस पेंशन से कर्मचारियों को जीवन यापन में मदद मिलेगी लेकिन ऐसा नहीं हो रहा है। उन्होंने कहा कि यदि सेवानिवृत्ति के समय किसी कर्मी का वेतन करीब 60 हजार रुपये है तो उसको सिर्फ तीन-चार हजार रुपये ही पेंशन के मिल रहे हैं। ऐसे में कर्मी का जीवन यापन करना मुश्किल हो रहा है।
आक्रोशित स्वर में कहा कि विधायक, सांसद को पुरानी पेंशन योजना से ही पेंशन दी जा रही है। यदि नई पेंशन योजना लाभदायक है तो विधायक-सांसद, मंत्रियों को भी पुरानी पेंशन बंद कर नई पेंशन दी जानी चाहिए। सभी ने एक सुर में कहा कि यदि पुरानी पेंशन योजना बहाल नहीं की गई तो राष्ट्रव्यापी उग्र आंदोलन होंगे।
अंत में सर्वसम्मति से तय हुआ कि आगामी 26 फरवरी को पुरानी पेंशन बहाली को लेकर फिर से विशाल रैली निकाली जाएगी। रैली में जल संस्थान, पेयजल निगम, सिंचाई, ग्रामीण अभियंत्रण सेवा, लोनिवि, वन, शिक्षा, राजस्व, रोडवेज, रेलवे समेत सभी विभागों के एक हजार से अधिक कर्मचारियों ने हिस्सा लिया। इस दौरान शीतल साह, सीताराम पोखरिया, जगदीश बिष्ट, मनोज तिवारी, वंदना चौधरी, हिमानी लेखी, सूरज आर्य आदि मौजूद रहे।