राज्य सरकार प्रदेश को देश का सबसे पसंदीदा पर्यटन गंतव्य बनाने के लिए कृतसंकल्पः मुख्यमंत्री

Prashan Paheli

शिमला । मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने कहा कि प्रदेश सरकार हिमाचल को देश का सबसे पसंदीदा पर्यटन गंतव्य बनाने के लिए कृत संकल्प है और इसके लिए प्रदेश में पर्यटन आधारभूत संरचना को सुदृढ़ करने के साथ-साथ हुए सैलानियों को विश्व स्तरीय सुविधाएं प्रदान करने के लिए ठोस कदम उठाए गए हैं। वह मनाली में जी आयोजित मनाली टूरिज्म काॅन्क्लेव को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड महामारी के संकटकाल मंे पर्यटन उद्योग पर सबसे अधिक विपरीत प्रभाव पड़ा है। उन्होंने कहा कि महामारी के दौर में सरकार का मुख्य ध्येय इस उद्योग को बचाना था और अब पर्यटन उद्योग के पुनरूत्थान पर ध्यान केन्द्रित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद में पर्यटन क्षेत्र का 7.3 प्रतिशत योगदान है। यह क्षेत्र स्थानीय युवाओं को प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार उपलब्ध करवाने के साथ-साथ युवाओं को स्वरोजगार का अवसर भी प्रदान करता है।

जय राम ठाकुर ने कहा कि प्रदेश सरकार ने राज्य के अनछुए पर्यटन गंतव्यों में सैलानियों को आकर्षित करने के लिए एक नई योजना नई राहें नई मंजिलें आरम्भ की है। इस योजना के तहत गत चार वर्षों में लगभग 200 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की गई है। उन्होंने कहा कि इस योजना के अन्तर्गत कांगड़ा जिला के बिलिंग को पैराग्लाईडिंग और साहसिक खेलों के गंतव्य के रूप में विकसित किया जा रहा है। इसी प्रकार शिमला जिला के चांशल को शीतकालीन खेलों के गंतव्य, मंडी जिला के जंजैहली को इको-पर्यटन गंतव्य और कांगड़ा जिला के पौंग डैम को जल क्रीड़ा गंतव्य के रूप में विकसित किया जा रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार एशियन विकास बैंक से राज्य के लिए 2095 करोड़ रुपये की पर्यटन परियोजना स्वीकृत करवाने में सफल रही है। उन्होंने कहा कि इस परियोजना के अन्तर्गत लगभग 700 करोड़ रुपये के कार्यों की विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार करने की प्रक्रिया जारी है। उन्होंने कहा कि मंडी में स्थापित किया जा रहा शिवधाम प्रदेश में आने वाले सैलानियों के लिए आकर्षण का एक प्रमुख केंद्र होगा।

जय राम ठाकुर ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में हवाई सेवाओं को सुदृढ़ करने की दिशा में कार्य रही है। मंडी जिला के नागचला में ग्रीनफील्ड हवाई अड्डे का निर्माण करनके के लिए आवश्यक कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस हवाई अड्डे के लिए वित आयोग ने एक हजार करोड़ रुपये की अनुशंसा की है और इसके निर्माण से राज्य में न केवल पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा बल्कि इसका सामरिक महत्व भी है।सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री डाॅ. राम लाल मारकंडा और शिक्षा मंत्री गोविन्द सिंह ठाकुर ने भी काॅनक्लेव में भाग लिया। प्रधान सचिव पर्यटन सुभाशीष पांडा भी इस अवसर पर उपस्थित थे

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