हरिद्वार: धर्मनगरी हरिद्वार भोले के जयकारों से गूंजने लगी है। कांवड़ यात्रा मंगलवार से विधिवत तौर पर शुरू हो गई। कांवड़ यात्रियों का सोमवार से ही गंगाजल लेने के लिए हरिद्वार पहुंचना शुरू हो गया है।
शुरू के एक हफ्ते पैदल कांवड़ यात्रा रहेगी और दस जुलाई के बाद डाक कांवड़ शुरू हो जाएगी। डाक कांवड़ में वाहनों से कांवड़ यात्री बड़ी-बड़ी कांवड़ लेकर गंगाजल लेने के लिए हरिद्वार पहुंचते हैं।
इन बातों का रखना होगा ध्यान
आठ जुलाई से हरिद्वार में कांवड़ यात्रा के लिए यातायात प्लान लागू कर दिया जाएगा।
भारी वाहनों को शहर में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा।
कांवड़ यात्रियों को अपने साथ पहचान पत्र रखना अनिवार्य किया गया है।
12 फीट से ऊंची कांवड़ लाने पर रोक रहेगी।
सुरक्षा के व्यापक इंतजाम
मेला क्षेत्र को 12 सुपर जोन, 33 जोन व 153 सेक्टरों में बांटा गया है। उत्तराखंड पुलिस के दो हजार पुलिसकर्मियों के अलावा अर्द्धसैनिक बलों की छह कंपनियां भी तैनात की गई हैं। यातायात व्यवस्था सुचारू रखने के लिए डायवर्जन प्लान भी लागू किया गया है।
12 दिन चलने वाले कांवड़ मेले में पहले हफ्ते पैदल कांवड़ यात्रियों का जोर रहेगा। दस जुलाई के बाद डाक कांवड़ के तौर पर दोपहिया और चौपहिया वाहनों से श्रद्धालु हरिद्वार पहुंचेंगे। आठ जुलाई से हरिद्वार जिले की सीमाओं से यातायात अन्य मार्गों पर डायवर्ट कर दिया जाएगा।
वहीं, श्रद्धालुओं को पार्किंग की जानकारी देने के लिए पहली बार क्यूआर कोड की व्यवस्था लागू की गई है। पुलिस और अर्द्धसैनिक बल के जवानों ने सोमवार को गंगा पूजन व स्वच्छता अभियान के साथ कांवड़ मेला ड्यूटी संभाल ली। जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल और एसएसपी अजय सिंह ने कांवड़ मेले में आने वाले श्रद्धालुओं से अपना पहचान पत्र साथ लाने और नियमों का पालन करने की अपील की है।